सोमवार, 30 दिसंबर 2013

रिश्तों के पौधे

हम जब अपनों से झगड़ा करते हैं तो सिर्फ उसके अवगुण देखते हैं ,गुणों को भूल जाते हैं।  लिस्ट बनाने बैठेंगे तो उसके गुणों की या फेवर्स की लिस्ट लम्बी होगी , मगर हमें तो वही दुर्गुण दिखता है।  A few drops of yogurt curdles the milk or a single drop of poison is sufficient to deteriorate the substance. जब भी कोई गुस्सा करता है ,  तब उसके दिल में दुःख या कोई frustration होता है या फिर उसने ज़िन्दगी के मायने ही गलत उठा लिये हैं।  हम उसका दर्द समझने की बजाय उससे झगड़ा करने लगते हैं।  पैसा ज़िन्दगी को आसान बनाता है , बहुत कुछ है , पर सब कुछ नहीं है।  न कभी चीजों से मन भरेगा , न कभी ख़ुशी की तलाश ही कम होगी।  हम हमेशा प्यार भरे दिल की तलाश में रहते हैं , जो हमें जैसे हम हैं वैसे ही स्वीकार करे और चाहे।  मगर खुद उसे उसकी कमिओं के साथ कभी स्वीकार नहीं करते।  उसके behaviour के पीछे उसकी नासमझी , frustration या expectation वाले कारण को नहीं देख पाते।  वो तो करुणा का पात्र है।  जब तक कोई receiving mind में न हो , हम उसे कुछ भी नहीं सिखा सकते।  प्यार सबसे बड़ा अस्त्र होता है , ये दिखाना नहीं होता , इसका असर अपने आप दिखता है।  प्यार ने हमेशा वो काम भी करवाये हैं , जो नामुमकिन होते हैं। प्यार ही आदमी को तनाव-मुक्त  रखता है ,will power को बढ़ाता है। सही रास्ता दिखाता है।  माफ़ करने वाला हमेशा गलती करने वाले से बड़ा होता है।

मित्र-दोस्त तो हम बना सकते हैं , मगर रिश्तों के साथ तो हम पैदा होते हैं।  भाई-बहन , माँ-बाप ,पति-पत्नी , बच्चे ये रिश्ते किसी कारण से होते हैं।  यहाँ हमें अपना कर्तव्य याद रखना है।  ये खाता (account )भगवान ने खोला है इसके पीछे का भेद जान लो। जिम्मेदारी हमेशा आगे बढ़ कर ली जाती है।हमें ये ध्यान रखना होता है कि हम राह न भटकें , और ख़ुशी ख़ुशी अपने रिश्ते निभायें। 

कहते हैं आज जो हम बो रहे हैं कल वही फसल काटेंगे।जो हम बाहर दे रहे हैं , it comes back to us in double amount whether it is hatred or love.ये मन हमसे क्या कुछ नहीं करवा लेता , ये छोटा मन है , हमारी Ego टकराती है , हम अपना remote अपनी ईगो को दे देते हैं।  वो चौराहे पर हमारे relationships की ,हमारी upbringing की , हमारे existence की धज्जियाँ उड़ा  देती है।  हमारी रातों की नींद हराम कर देती है।  समझदारी ये कहती है कि ज़िन्दगी उलझने में नहीं , अपना रास्ता आसान बनाने में है।  सत्ता देनी ही है तो बड़ी ego को दो , जो सबको अपना समझे।  बंद मुट्ठी है लाख की , ' हम ' शब्द ही unity बताता है , दिल में power बढ़ा देता है।  हमें तो फूलों की तरह खिलना है।  

 धैर्य के साथ अपनी बात दूसरे को समझानी चाहिए ।  मित्रों -दोस्तों की पोल तो आड़े वक्त में देर-सबेर खुल ही जाती है।  रिश्ते ही घर को घर बना सकते हैं।  ताकि दुनिया की ठोकरों से जब घबरा के कोई घर लौटे तो कोई छाया तो हो उसे आराम देने के लिए। रिश्तों के पौधों की जड़ों को अगर खाद-पानी न मिले तो पौधे सूख जाते हैं , पनप नहीं पाते।  जड़ें मजबूत हों तो फूल खिलते हैं , टहनियाँ आसमान छूती हैं। बड़ी-बड़ी बातें एक दिन में घटित नहीं होतीं।  छोटी-छोटी बातें ही आदमी को महान बनातीं हैं।